संगरिया(चिमन गर्ग) डा. सूरज प्रकाश एक स्वप्नदर्शी तो थे ही किन्तु साथ ही स्वप्नों को व्यावहारिक रूप देने की सूझ बूझ व क्षमता भी उनमें थी। उक्त विचार आज एआरएम आईटीआई कॉलेज में भारत विकास परिषद द्वारा आयोजित डा. सूरज प्रकाश की जयंती के अवसर पर संबोधित करते हुए परिषद के जिला प्रभारी अरुण अरोड़ा ने कहा।
उन्होंने कहा कि उन्होने अपने चुम्बकीय व्यक्तित्व से समाज सेवा को सर्वोपरि मानते हुए भारत विकास परिषद की 1963 में स्थापना की। सरंक्षक रामलाल बिस्सू ने कहा कि आज भारत विकास परिषद की देश भर में 1355 शाखाएं उन्ही के बताए मार्ग का अनुसरण करते हुए विभिन्न प्रकल्पों के माध्यम से सेवा कार्य कर रही है।
अध्यक्ष संजय जिन्दल, संजीव जिन्दल, राजीव , कपिल बंसल, आशीष गोयल, प्रदीप सिंगला आदि ने भी विचार रखे।
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