Advertisement

Advertisement

चारणवासी:-फिल्टर शुरू होने के बावजूद रतनपुरा के लोगों को नसीब नहीं हुआ शुद्ध पेयजल

चारणवासी:गांव रतनपुरा में लीकेज से बहता पेयजल

तीन गांवों में सप्लाई होता पेयजल,लीकेज के कारण घरों में पहुंच रहा दूषित पानी
चारणवासी।(जयलाल वर्मा)  गांव रतनपुरा में सरकार ने शुद्व पेयजल मुहैया करवाने के लिए करोड़ो रूपए खर्च कर फिल्टर का निर्माण करवा कर सप्लाई शुरू की हैं। लेकिन लोगों को शुद्व पेयजल नसीब नहीं हुआ। उल्लेखनीय हैं कि पानी को फिल्टर करने बाद जब गांंवों की लाइनों में सप्लाई किया जाता है

 जहां जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग की अनदेखी के चलते पेयजल सडक़ों पर व्यर्थ बह कर अशुद्व हो जाता हैं।  ग्रामीण पूर्व पंचायत समिति सदस्य जिंद्रपाल गोदारा,राकेश कुमार,रणजीत,कृष्ण कुमार,प्रभु,दीनदयाल जोशी इत्यादि ने बताया कि वाटर वक्र्स से गांव की दूरी मात्र एक किमी से भी कम। इतनी दूरी में जगह-जगह लीकेज होने के कारण रतनपुरा-मेहणा मार्ग में गढ़े ही गढ़े पड़ गए है। 

पेयजल सप्लाई के दौरान लीकेज से निकलने वाले पानी सडक़ पर बने गढ्ढों भर जाता है ओर पानी सडक़ पर बिखर जाता है। पेयजल सप्लाई बंद होने के बाद लीकेज से सडक़ पर बिखर कर अशुद्व हुआ पानी पाइप लाइन में चला जाता हैं। दूसरें दिन सप्लाई के समय अशुद्व पानी घरों में चला जाता है। ग्रामीणों द्वारा बार-बार लीकेज दुरूस्त करने की मांग की जाती हैं। 

मात्र जल भण्डारण की एक ही डिग्गी-
1980 में गांव में पेयजल सप्लाई के लिए मैन बस स्टेण्ड पर टंकी का निर्माण करवाया गया। टंकी विभागीय अनदेखी के कारण करीब बीस से पहले क्षतिग्रस्त हो गई थी। उसके बाद गांव में सीधा विद्युत मोटरों द्वारा हेड वाटर वक्र्स से पानी सप्लाई हो रहा हैं।  वाटर वक्र्स से रतनपुरा,चक 1 व 2 आर.पी एम में भी पेयजल सप्लाई होती हैं। तीनों गांवों में पेयजल सप्लाई करने के लिए मात्र एक जल भण्डारण की डिग्गी बनी हुई हैं। जिसका पानी गांवों की आबादी के अनुसार अपर्याप्त रहने लगा हैं। डिग्गी के पानी से पन्द्रह दिन ही प्यास बुझती हैं। नहरी बंदी के दौरान लोगों को पानी के टैंकर मंगवाने पड़ते हैं। 

जईएन श्याम सूंदर शर्मा ने बताया कि लीकेज दुरूस्त करने के लिए सामान कर्मचारियों को उपलब्ध करवा दिया गया हैं। शीघ्र ही समस्यां का हल हो जाएगा। 

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ

Advertisement

Advertisement