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देश में विकास की योजनाएं, भावी प्लानिंग जनगणना पर टिकीः- निदेशक जनगणना


  • जनगणना का कार्य अतिमहत्वपूर्ण


श्रीगंगानगर। निदेशक जनगणना कार्य निदेशालय राजस्थान सलविन्द्र सिंह सोहता ने कहा कि जनगणना का कार्य एक बहुत ही महत्वपूर्ण कार्य होता है। जिस अधिकारी से जो सूचना मांगी जाती है, उसे तत्काल भिजवावें। देश में विकास की योजनाएं, भावी प्लानिंग जनगणना पर टिकी होती है।
 सोहता शुक्रवार को कलेक्ट्रेट सभा हॉल में भारत की जनगणना 2021 की तैयारियों के संबंध में आयोजित बैठक में आवश्यक निर्देश दे रहे थे। उन्होंने कहा कि समय पर कार्य करने की इच्छा शक्ति होनी चाहिए। वर्तमान में अधिकांश सूचनाएं ऑनलाईन है तथा उस कार्य को करने के लिये थोड़ा समय निकालना होता है, ऐसे में इस कार्य को गंभीरता से लें।
उन्होंने कहा कि भारत में समय-समय पर यथा संशोधित जनगणना अधिनियम 1948 तथा जनगणना नियमावली 1990 के कानूनी प्रावधानों के अंतर्गत प्रत्येक 10 वर्ष में जनसंख्या की जनगणना का आयोजन किया जाता है। भारत की 2021 में की जाने वाली अगली दशकीय जनगणना 1881 से इस श्रृंखला की 15वीं और स्वतंत्राता प्राप्ति से 8वीं जनगणना होगी। यह राष्ट्रीय महत्व का एक वृहद् कार्य है। जिसमें प्रत्येक चरण को अत्यधिक सावधानी के साथ समयबद्ध पूरा किया जाना है।
जनगणना निदेशक ने कहा कि जनगणना का उद्देश्य जनगणना की तारीख को किसी व्यक्ति को गणना से छोड़े बगैर अथवा किसी व्यक्ति की दो बार गणना न करते हुए सभी व्यक्तियों की गणना करना है। इसलिये यह नितांत आवश्यक है कि सभी ग्रामीण एवं नगरीय क्षेत्रों की पूर्ण सूची तैयार की जाये ताकि जनगणना में पूरी कवरेज की जा सकें। 2021 की जनगणना के संबंध में 2011 की जनगणना के पश्चात अब तक हुए और अब आगे 2021 तक होने वाले क्षेत्राधिकार परिवर्तनों का ब्यौरा एकत्रित व संकलित करना है।
2011 की जनगणना के पश्चात राजस्थान सरकार द्वारा अधिसूचनाएं जारी कर कई बड़े गांव की ढ़ाणियों को पूर्ण राजस्व गांव का रूप दिया गया है। निर्धारित प्रपत्रा में आबाद व गैर आबाद की स्थिति सहित ढाणियों का उल्लेख करें। यह संभव है कि किसी गांव का नाम बदला गया हो, ऐसी स्थिति में भी लोकेशन कोड नम्बर के आधार पर सूचना दें। तहसील व उसमें सम्मिलित समस्त गांवां व नगरों की वर्तनी को जांच कर सत्यापित कर भिजवाना होगा। नगरपालिकाओं में भी राज्य सरकार द्वारा क्षेत्राधिकार में समय-समय पर सरकारी राजपत्रा में अधिसूचना जारी की जाती है। 2011 और अब तक के बीच में स्थानीय निकाय की सूची में जोड़ने, हटाने एवं अन्य परिवर्तन को भी शामिल करना होगा।
बैठक में अतिरिक्त जिला कलक्टर सर्तकता गोपाल राम बिरदा, क्षेत्राय उपनिदेशक ऋषिबाला श्रीमाली, जिला सांख्यिकी अधिकारी गिरीराज मीणा सहित जिले के स्थानीय निकायों के अधिकारियों, जिला परिषद के परियोजना अधिकारी विक्रम जोरा, नगर परिषद के कार्यवाहक आयुक्त  लाजपत सहित जिले के तहसीलदारों ने भाग लिया। 

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