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गंगनहर में जगह-जगह अवैध पाईपे, किसानों ने किया नहर का दौरा,विधायक सोना देवी ने भी देखा पुरा घटनाक्रम।

श्रीगंगानगर/रायसिहनगर।आज गंगानगर किसान समिति के पदाधिकारी व रायसिहनगर विधायक सोना देवी बावरी और सैकड़ों किसानों के साथ गंगनहर की आरडी 283 से 254 तक घंटिया वाली यहा से गंगनहर पिछले दिनों टूट गई थी।नहर टूटने की वजह किसानों को शरारत का अंदेशा हुआ जिसको लेकर आज विधायक सोना देवी बावरी व किसान संघर्ष समिति के सदस्यों ने नहर का दौरा किया।निरीक्षण के दौरान जो समिति के सदस्यों ने व विधायक ने देखा वह हैरान हो गये।जगह जगह 10 से 15 इंच के पाईप अवैध रूप से गंगनहर से सीधे खेतों में लगा रखी हैं।जगह जगह अवैध रूप से बिजली के कनेक्शन लगे हुए हैं।मौके पर ही खड़े रहकर सिंचाई विभाग के अधिकारीयों से विधायक सोना देवी बावरी ने बातचीत की लेकिन अधिकारी ने संतुष्ट जबाव नही दिया।विधायक ने अधिकारीयों के जानबूझकर अनजान बनने की बात कही।विधायक व गंगानगर संघर्ष समिति के पदा अधिकारी को मौके पर मिले सरकारी बैलदार ने बताया की एक पाईप का 15 हजार रूपये राजस्थान व पंजाब के सिंचाई विभाग के अधिकारी रिश्वत लेते हैं।विधायक व समिति सदस्य ने किसानों को साथ लेकर श्रीगंगानगर कलेक्टर परिसर में धरना लगा दिया और सिंचाई विभाग मुर्दाबाद के नारे लगाने शुरू कर दिये।विधायक ने व समिति सदस्यों ने एसई को बताया की 35 बुर्जीयों पर ही सैंकडो अवैध पाईपे लगी मिली हैं पुरी नहर के हालात क्या होंगे।सिंचाई विभाग के अधिकारी रस्तोगी के साथ मामले को लेकर विधायक व किसान संघर्ष समिति के सदस्यों ने वार्ता की लेकिन कोई ठोस जबाव नही मिला।विधायक ने अधिकारी को बताया की हमनें वही पाईपे देखी हैं जो फिक्स लगी हैं जहा बिजली की मोटरे पानी चोरी के लिए चलती हैं लेकिन ऐसी सैकडो पाईपे जो पानी चोरों ने मौके से हटा ली वह तो गिनती में ही नही हैं।विधायक ने अधिकारी को कहा की पानी चोरी रोकना जिम्मेदारी आपकी हैं जो आप नही कर रहे।किसान संघर्ष समिति के सदस्यों ने मंत्री को चेतावनी दी की हम किसी भी सुरत में गंगनहर को बर्बाद नही होने देंगे।जब सदस्यों मे एसई से रात को मौका देखने की बात कही तो कोई जबाब नही सुझा।विधायक सोना देवी बावरी व किसान संघर्ष समिति के सदस्यों नें अधिकारी पर काम करने की अपेक्षा टाईम पास करने का आरोप लगाया।आज जिस तरह से पानी चोरी की परते उखड़ी वह वास्तव में सोचनीय हैं।हजारों रूपयों की तनख्नाह लेने वाले अधिकारी क्या नहर का निरीक्षण तक नही करते।सिर्फ ऑफिसों में बैठकर ही सिस्टम को चलाया जा रहा हैं जो बात आज जागरूक किसान व विधायक ने साबित कर दिखाई।

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