Advertisement

Advertisement

Surgical Strike: सेना का संदेश, सावधान पाकिस्तान,नरेंद्र मोदी ने लिया सामरिक तैयारी का जायजा


दो साल पहले जम्मू कश्मीर से सटी नियंत्रण रेखा पार कर पाकिस्तानी ठिकानों को नैस्तनाबूद करने वाली भारतीय थल सेना की  की दूसरी वर्षगांठ पर प्रधानमंत्री ने शुक्रवार सुबह जोधपुर मिलिट्री स्टेशन पर पराक्रम पर्व का शुभारंभ किया। प्रदर्शनी में सेना ने अत्याधुनिक हथियारों और संसाधनों के जरिए अपनी ताकत दिखाई और पश्चिम मोर्चे पर अपनी मजबूती का संदेश देते हुए पड़ोसी मुल्क Pakistan को आगाह भी कर दिया कि उसने हिन्दुस्तान की तरफ नापाक नजरें उठाई तो नतीजे इस बार पहले से ज्यादा घातक होंगे।
रक्षा मंत्रालय ने कुछ दिन पहले ही मनाने का फैसला किया था। इसके तहत Jodhpur समेत देश के चार प्रमुख स्थानों पर पराक्रम पर्व मनाया जा रहा है। जोधपुर में हो रही सेना के तीनों अंगों की संयुक्त कमाण्डर्स कॉन्फ्रेंस में शामिल होने पहुंचे पीएम मोदी ने पराक्रम पर्व की शुरुआत की। उन्होंने कोर्णाक कोर के शहीद स्मारक पर शहीदों को श्रद्धासुमन अर्पित किए और बाद में कोणार्क स्टेडियम में सेना की हथियार प्रदर्शनी का उद्घाटन किया। खुली जिप्सी में प्रदर्शनी का अवलोकन किया। इस मौके पर रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण, नौसेना अध्यक्ष एडमिरल सुनील लाम्बा थल सेनाध्यक्ष जनरल विपिन रावत, वायुसेनाध्यक्ष एयरचीफ मार्शल बी.एस. धनोआ, राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे व केंद्रीय कृषि राज्यमंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत भी मौजूद थे।
आम जनता भी देख सकेगी प्रदर्शनी
लांसर चौराहा स्थित कोणार्क स्टेडियम में आर्मी की तीन दिवसीय प्रदर्शनी को शुक्रवार से ही आम जनता देख सकेगी। दर्शक शुक्रवार अपराह्न 4 से सात बजे तक प्रदर्शनी का अवलोकन कर पाएंगे। शनिवार को प्रदर्शनी अवलोकन का समय सुबह 9 से दोपहर 12 और अपराह्न 4 से शाम 7 बजे तक रहेगा। रविवार को सुबह 9 से दोपहर 12 बजे तक प्रदर्शनी देख पाएंगे।

पीएम ने परखी सामरिक तैयारी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को यहां वायुसेना स्टेशन के कॉन्फ्रेंस हॉल में सेना की सामरिक तैयारियों का जायजा लिया। सेना, वायुसेना और नौसेना के टॉप कमाण्डर्स की यह बैठक पहली बार जोधपुर में हो रही है। इसमें सेना के तीनों अंगों के मौजूदा संसाधनों और जरूरतों के अलावा विभिन्न मोर्चों पर सामरिक तैयारियों पर चर्चा की जा रही है। मोदी ने कॉन्फ्रेंस का उद्घाटन किया। इसमें रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण, नौसेनाध्यक्ष एडमिरल सुनील लाम्बा, थल सेनाध्यक्ष जनरल विपिन रावत, वायुसेनाध्यक्ष एयर चीफ मार्शल बीएस धनोवा, रक्षा मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी भाग ले रहे हैं।

रक्षा मंत्रालय हर साल इस तरह की कॉन्फ्रेंस आयोजित करता है, लेकिन केंद्र में मोदी सरकार बनने के बाद कॉन्फ्रेंस दिल्ली के बाहर होने लगी है। पिछली बार यह कॉन्फ्रेंस देहरादून स्थित इंडियन मिलिट्री अकादमी में हुई थी, जबकि वर्ष 2016 में नौसेना के युद्धक पोत आईएनएस विक्रांत पर कमांडर कॉन्फ्रेंस का आयोजन किया गया था। इस बार सामरिक दृष्टि से अहम माने जाने वाले एशिया के सबसे बड़े एयरबेस जोधपुर को चुनाल गया है।
इन मुद्दों पर भी चर्चा
प्रतिरक्षा सूत्रों के अनुसार कॉन्फ्रेंस में वायुसेना के लिए लड़ाकू विमानों की खरीद, राफेल का मुद्दा, थल सेना के लिए हथियारों की खरीद, दक्षिणी चीन सागर व श्रीलंका तक चीनी घुसपैठ, कश्मीर में राज्यपाल शासन के बाद के वहां के हालात पर चर्चा हो सकती है।

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ

Advertisement

Advertisement