ज्योतिष में अशुभ ग्रहों व प्रतिकूल ग्रहयोगों के लिए हवन शान्ति, दान, कवच धारण, रत्न धारण एवं रुद्राक्ष धारण करवाया जाता है। किस ग्रह के लिए कौन सा रुद्राक्ष धारण करना लाभदायक होता है, वह इस प्रकार जानें।
1 सूर्य- सूर्य के लिए एक मुखी रुद्राक्ष धारण करना लाभदायक रहता है।
2 चंद्र- चंद्र के लिए दो मुखी रुद्राक्ष धारण करना लाभदायक रहता है।
3 मंगल- मंगल के लिए तीन मुखी अथवा ग्यारह मुखी रुद्राक्ष धारण करना लाभदायक रहता है।
4 बुध- बुध के लिए चार मुखी रुद्राक्ष धारण करना लाभदायक रहता है।
5 गुरु- गुरु के लिए पांच मुखी या दस मुखी रुद्राक्ष धारण करना लाभदायक रहता है।
6 शुक्र - शुक्र के लिए छह मुखी अथवा तेरह मुखी रुद्राक्ष धारण करना लाभदायक रहता है।
7 शनि- शनि के लिए सात मुखी अथवा चौदह रुद्राक्ष धारण करना लाभदायक रहता है।
8 राहु- राहु के लिए आठ मुखी रुद्राक्ष धारण करना लाभदायक रहता है।
9 केतु- केतु के लिए नौ मुखी रुद्राक्ष धारण करना लाभदायक रहता है।
अशुभ योगों के यह रुद्राक्ष धारण करना लाभदायक रहता है-
1 कालसर्प दोष- आठ एवं नौ मुखी रुद्राक्ष काले धागे में बुधवार या शनिवार को धारण करें।
2 शकट योग- दो एवं दस मुखी रुद्राक्ष सफ़ेद या पीले धागे में सोमवार या गुरुवार को धारण करें।
3 केमद्रुम योग- दो मुखी रुद्राक्ष सफ़ेद धागे में सोमवार को धारण करें।
4 ग्रहण योग- सूर्य से बनने वाले ग्रहण योग के लिए एक मुखी, आठ या नौ मुखी रुद्राक्ष लाल धागे में रविवार को धारण करें तथा चन्द्र से बनने वाले ग्रहण योग के लिए दो मुखी, आठ व नौ मुखी रुद्राक्ष सफ़ेद धागे में सोमवार को धारण करें।
5 मंगल दोष के लिए तीन या ग्यारह मुखी रुद्राक्ष लाल धागे में मंगलवार के दिन धारण करें।
रुद्राक्ष कैसे धारण करें-
सर्वप्रथम रुद्राक्ष का जल से अभिषेक करें। तत्पश्चात् पंचामृत से अभिषेक कर पुन: शुद्ध जल से स्नान कराकर शुद्ध करें। उसके उपरांत रुद्राक्ष की पंचोपचार पूजा कर शिवलिंग पर अर्पण कर निर्माल्य रूप में स्वयं धारण करें।
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