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6 गोलिया लगने पर भी दुश्मनों को मुहतोड जबाब दिया

भूतपूर्व सैनिक नायक राम निवास : 6 जाट   
श्रीगंगानगर, 23 अगस्त। हिसार से महज 30 कि.मी. की दूरी पर स्थित सेरडा गांव, तहसील बादरा में श्री नंद राम के घर में जन्में राम निवास बचपन से ही काफी फुर्तीले और जांबाज थे।  गॉंव के स्कूल के शिक्षक घर वालों से उनके काम की सराहना अक्सर किया करते थे।  बचपन से ही खुद के साथ-साथ दो छोटे भाईयों की जिम्मेदारी का निर्वाहन करते हुए सेना में शामिल होने का जज्बा कायम रखा और 16 वर्ष की आयु में सेना में भर्ती होने का सपना पूरा किया। सेना के कठिन प्रशिक्षण और अपनी कडी मेंहनत के पश्चात भारतीय सेना की अग्रणी बटालियन 6 जाट में पदस्थ रहते हुए, 1 अक्टूबर 2000 में जम्मू कश्मीर के कुपवाडा जिले में आतंकवादियों से लडते हुए घायल हो गये इसके बावजूद उन्होंने बडी बहादुरी के साथ दुश्मन का सामना करते हुये आतंकवादियों के भागने में नाकामयाब कर दिया।  इस ऑंपरेशन में नायक राम निवास के सीने तथा पेट में 06 गोलियॉं लगी अपने शरीर की परवाह किए बगैर उन्होंने अपनी बटालियन के साथ कन्धें से कन्धा मिलाकर दुश्मनों को मार गिराया।  01 जनवरी 2002 को सेवानिवृत होकर वही हौसला और फौलादी इरादों के साथ अपने पै़त्राक गांव सरेडा में परिवार के साथ रह रहे है।  

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