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जिले में किसानों को परंपरागत खेती की बजाय फसल विविधीकरण अपनाने को लेकर करें प्रेरित- जिला कलेक्टर

 जिले में किसानों को परंपरागत खेती की बजाय फसल विविधीकरण अपनाने को लेकर करें प्रेरित- जिला कलेक्टर


आत्मा शाषी परिषद की बैठक में बोले जिला कलेक्टर श्री नथमल डिडेल
कृषक पुरस्कार हेतु ब्लॉक स्तर पर 25 एवं जिला स्तर पर 10 कृषकों के चयन का सर्वसम्मति से किया अनुमोदन
नहरों, खालों, सड़क किनारे  वन विभाग के जरिए जिले भर में मलेशियन टीक लगाने का आया सुझाव

हनुमानगढ़,। जिला कलेक्टर श्री नथमल डिडेल की अध्यक्षता में बुधवार को कृषि विभाग के अंतर्गत आत्मा शाषी परिषद की बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में कृषक पुरस्कार हेतु ब्लॉक स्तर पर 25 एवं जिला स्तर पर 10 कृषकों के चयन हेतु सर्वसम्मति से अनुमोदन किया गया। जिला कलेक्टर ने निर्देशित किया कि जैविक खेती करने वाले कृषकों को गेहूं, धान के स्थान पर फसल विविधीकरण अपनाते हुए सब्जी एवं फलों की जैविक खेती करने हेतु प्रेरित किया जाए।  साथ ही कहा कि आत्मा शाषी परिषद के सदस्यों एवं अन्य कृषकों को कृषक पुरस्कार हेतु चयनित कृषको के खेतों का भ्रमण करवाया जाए। साथ ही जिला स्तर पर चयनित कृषकों की सफलता की कहानी तैयार कर जनसंपर्क विभाग के जरिए अधिकाधिक प्रचार प्रसार करवाया जाए ताकि अन्य कृषकों को नवाचार अपनाने हेतु प्रेरणा मिल सके।
 
बैठक में आत्मा शाषी परिषद सदस्य एवं पूर्व प्रधान श्री दयाराम जाखड़ ने सुझाव दिया कि मलेशियन टीक के प्लांटेशन को बढ़ावा देने के लिए वन विभाग के माध्यम से वन भूमि के साथ-साथ नहरों, सड़कों, खालों इत्यादि के किनारे मलेशियन टीक का पौधरोपण किया जावें। आत्मा शाषी परिषद सदस्य श्री जसवंत भादू ने जिले में प्लास्टिक सीट वाली डिग्गी की जगह पक्की डिग्गी बनाने के लिए कृषकों को प्रेरित करने का सुझाव दिया।

इससे पहले बैठक के प्रारम्भ में आत्मा शाषी परिषद के सदस्य सचिव एवं उप निदेशक कृषि (आत्मा परियोजना ) श्री बलबीर सिंह खाती ने गत बैठक की कार्यवाही का विवरण एवं वित्तीय वर्ष 2021-22 की भौतिक एवं वित्तीय प्रगति से अवगत करवाया तथा आत्मा परियोजना द्वारा अब तक जारी की गई तकनीकी एडवाइजरी हस्तांतरण प्रगति प्रतिवेदन प्रेषित किया। तत्पश्चात वर्ष 2021-22 में कृषक पुरस्कार के अनुमोदन हेतु आत्मा शाषी परिषद के सभी सदस्यों के समक्ष कृषक पुरस्कार हेतु प्राप्त आवेदन, आवेदन उपरांत फील्ड स्टाफ द्वारा किये गये भौतिक सत्यापन एवं कृषक पुरस्कार चयन समिति के सदस्यों द्वारा कृषक पुरस्कार हेतु चयनित किये गये कृषकों का विस्तृत विवरण प्रस्तुत किया। कृषक पुरस्कार हेतु ब्लॉक स्तर पर 25 एवं जिला स्तर पर 10 कृषकों के चयन हेतु आत्मा शाषी परिषद द्वारा सर्वसम्मति से अनुमोदन किया गया।

परियोजना निदेशक आत्मा  ने बताया कि आगामी कपास सीजन में गुलाबी सुण्डी के प्रकोप होने के मध्यनजर आत्मा परियोजना द्वारा तकनीकी एडवाइजरी जारी करके व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाएगा ताकि गुलाबी सुंडी का प्रारम्भिक अवस्था से ही प्रभावी नियंत्रण सम्भव हो सके। परियोजना निदेशक आत्मा ने बताया कि जिले में पॉली हाउस, लॉ टनल आधारित संरक्षित  खेती को बढ़ावा देने के लिए कृषकों को 4 बीकेके भूकरका में पॉली हाउस तथा चक 7-9 केएनएन रतनपुरा में जिला स्तरीय कृषक भ्रमण के माध्यम से कृषकों को प्रशिक्षित किया जाएगा। सहायक निदेशक उद्यान द्वारा उद्यान विभाग की विभिन्न योजनाओं का प्रगति प्रतिवेदन प्रेषित किया गया।

अतः में उपनिदेशक कृषि (विस्तार) श्री दानाराम गोदारा ने रबी फसलों का क्षेत्रफल अनुमानित उत्पादकता एवं उत्पादन सम्बन्धी जानकारी से सदन को अवगत करवाया तथा डिग्गी, कृषि यंत्र इत्यादि योजनाओं का प्रगति प्रतिवेदन प्रस्तुत किया एवं बैठक में भाग लेने वाले सभी अधिकारियों एवं आत्मा शासी परिषद के सदस्यों का धन्यवाद ज्ञापित किया।

बैठक में जिला कलेक्टर के अलावा उपनिदेशक कृषि श्री दानाराम गोदारा, उपनिदेशक आत्मा परियोजना श्री बलबीर खाती, पूर्व प्रधान एवं प्रगतिशील किसान श्री दयाराम जाखड़,  जिला कृषि इनपुट एसोसिएशन के अध्यक्ष श्री बालकृष्ण गोल्याण, पशुपालन विभाग के संयुक्त निदेशक डॉ ओमप्रकाश किलानिया, कृषि विपणन के क्षेत्रीय उपनिदेशक श्री सुभाष सहारण, पीआरओ श्री सुरेश बिश्नोई, एलडीएम श्री राजकुमार, एमसी डेयरी श्री पवन कुमार गोयल, उद्यान के सहायक निदेशक डॉ सुरेश मान, पशुपालन के उपनिदेशक डॉ राजेन्द्र सुखानी, कृषि विभाग के सहायक निदेशक श्री बीआर बाकोलिया, कृभको के मुख्य प्रबंधक श्री नंदराम भाकर, केवीके नोहर से श्री अक्षय घिंटाला, कृषि अधिकारी श्रीमती रिचा बंशीवाल, पूर्व प्रधान श्री दयाराम जाखड़, प्रगतिशील किसान श्री रणजीत चाहर इत्यादि उपस्थित रहे।

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