राजेंद्र सिंघल
सादुलशहर। अपने कद से छोटी बात या मुद्दे को जब कोई अपनी प्रतिष्ठा का प्रश्न बना लेता है तो फिर उसकी पहले से अर्जित प्रतिष्ठा भी दाव पर लग जाती है। दाव तो दाव है, किसके पक्ष मेँ निकले, कोई नहीं बता सकता। ऐसा ही कुछ हो रहा है स्थानीय वार्ड नंबर 19 के उप चुनाव मेँ। ठीक ऐसे जैसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी प्रतिष्ठा को गुजरात चुनाव से जोड़ केंद्र सरकार, संगठन को गुजरात फतेह करने के लिए लगा रखा है।
ऐसा ही कुछ भाजपा के साथ सादुलशहर के इस वार्ड के उप चुनाव मेँ हो रहा है। विधायक परिवार, भाजपा-भाजयुमो संगठन दोनों 19 नंबर वार्ड को जीतने की कोशिश मेँ लगे हैं। कांग्रेस व भाजपा के ही एक धड़े (पालिकाध्यक्ष व पूर्व पालिकाध्यक्ष गुट) के सामने के मुक़ाबले मेँ भाजपा ने खुद विरोधी का कद इतना बड़ा कर दिया कि क्या कहने! यह खुद विरोधी ने भी नहीं सोचा होगा।
राज्य अल्पसंख्यक विभाग अध्यक्ष जसवीर सिंह, भाजपा-भाजयुमो संगठन के जिलाध्यक्ष हरिसिंह कामरा, गुरवीर सिंह बराड़, पदाधिकारी, प्रकोष्ठों के अध्यक्ष के साथ साथ उपाध्यक्ष रामावतार यादव, सरपंच बख्तावर सिंह भूप्पल, पार्षद रामगोपाल धींगड़ा, रेशम सिंह, मनमोहन सोनी, डॉ. बद्री विशाल शर्मा, करुण मित्तल, विशाल सेतिया वार्ड मेँ प्रचार कर रहे हैं। आजू-बाजू वाले तो ना जाने कितने ही लगे हैं इस वार्ड मेँ भाजपा उम्मीदवार के लिए वोट मांगने मेँ। भाजपा-भाजयुमो संगठन की लगभग सभी तोप इस वार्ड मेँ उतार दीं गईं है। अगर एक एक तोप को एक एक गली का जिम्मा भी दिया जाए तो गली कम पड़ जाए। इस छोटे से चुनाव मेँ जो जीतेगा, वह केवल दो साल के लिए पार्षद बनेगा। इसके बावजूद इसे इतना महत्व दिया गया है कि भाजपा-भाजयुमो संगठन हर हाल मेँ इसे जीतना चाहती है, जैसे वह गुजरात चुनाव जीतने उतरी हो। चुनाव परिणाम पता नहीं क्या होगा, लेकिन कल्पना करो कि भाजपा के हाथ पल्ले कुछ नहीं पड़ा तो! तो इनमें से कौनसा नेता हार की ज़िम्मेदारी अपने सिर लेगा! भाजपा-भाजयुमो संगठन ने इस छोटे से चुनाव मेँ अपने तमाम नेता उतार कर सामने वाले उम्मीदवार का कद बढ़ाने की ही काम नहीं किया बल्कि उसे महत्वपूर्ण बना दिया है। हालांकि चुनाव मैदान मेँ भाजपा-भाजयुमो संगठन का मुक़ाबला कांग्रेस महिला उम्मीदवार से है,
लेकिन सामने मंच पर है गुटबाजी की शिकार कांग्रेस है जो गुटबाजी के बावजूद पूरे हौसलों की उड़ान के साथ भारी बहुमत से चुनाव जीतने का दावा कर रही है। जिला कांग्रेस ने किसान कांग्रेस जिलाध्यक्ष सुखदेव सिंह बराड़, पूर्व पार्षद साहब राम विद्यार्थी, अजब सिंह खीचड़ को वार्ड जिताने की जिम्मेदारी दी है। स्थानीय कांग्रेस नेताओं के साथ युवा नेता बलकरण सिंह बराड़ भी घर-घर जनसंपर्क कर रहे हैं। सवाल है कि करीब 700 वोटों के इस वार्ड में कांग्रेस पार्षद पूजा इंदौरा के शिक्षक पद पर चयन से रिक्त होने पर उप चुनाव में भाजपा अपना खाता खोलने में कामयाब होगी। उप चुनाव के लिए वोटिंग 17 दिसंबर को होनी है।
तीन-चौथाई बहुमत लेकर रिकॉर्ड जीत दर्ज करवाएंगे : विद्यार्थी
पूर्व पार्षद साहब राम विद्यार्थी ने कहा कि जब से नगर पालिका बनी है इस वार्ड से लगभग कांग्रेस ही जीती है। बसपा-माकपा ने एक-एक बार उपस्थिति दर्ज कराई मगर भाजपा का खाता कभी नहीं खुला।
कांग्रेस का वार्ड मेँ अपना प्रभाव है। पहचान है। संबंध है। संबंध भी आज के नहीं है, पुराने है। भाजपा से भी यह बात कोई छिपी हुई नहीं है और ना ही भाजपा नेता इससे अनजान है। उन्होंने दावा किया कि तीन-चौथाई बहुमत लेकर रिकॉर्ड जीत दर्ज करवाएंगे।
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