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राजस्थान सरकार एवं न्यू डेवलपमेन्ट बैंक के मध्य राजस्थान के रेगिस्तान क्षेत्र में करीब 3300 करोड़ रु. की महत्वाकांक्षी राजस्थान जल क्षेत्र पुर्नसरचना परियोजना के लिए ऋण- अनुबंध पर नई दिल्ली में हुए हस्ताक्षर


जयपुर,। राजस्थान सरकार एवं न्यू डेवलपमेन्ट बैंक (एन डी बी ) के मध्य राजस्थान के रेगिस्तान क्षेत्र में करीब 3300 करोड़ रु. की महत्वाकांशी राजस्थान जल क्षेत्र पुर्नसरचना परियोजना के लिए मंगलवार को नई दिल्ली में ऋण अनुबंध समझौते पर हस्ताक्षर हुए है।






नई दिल्ली के नॉर्थ ब्लॉक में  स्थित केन्द्रीय वित्त मंत्रालय में परियोजना के प्रथम चरण के लिए 1000 करोड़ के ऋण अनुबंध समझौते पर भारत सरकार के वित्त एवं आर्थिक मामलात मंत्रालय में संयुक्त सचिव श्री गोविंद मोहन,राजस्थान सरकार के प्रमुख सिंचाई सचिव श्री शिखर अग्रवाल और एन डी बी के प्रतिनिधि ने दस्तखत किए। आगामी अप्रेल माह में दूसरे चरण और तदुपरान्त परियोजना की प्रगति के अनुरूप एन डी बी द्वारा ऋण राशि जारी की जायेगी।





इस मौके पर राजस्थान के प्रमुख सिंचाई सचिव श्री शिखर अग्रवाल ने बताया कि इस महत्वाकांक्षी  परियोजना से रावी, ब्यास, सतलज और घग्गर नदियों के वर्षा व बाढ़ के व्यर्थ में बह कर पाकिस्तान की ओर चले जाने वाले पानी का सदुपयोग हो सकेगा ।






उन्होंने बताया कि परियोजना के तहत इंदिरा गांधी नहर परियोजना की नहरों की  रिस्ट्रक्चरिंग एवं मरम्मत भी होगी । इससे नहरों से पानी की छीजत व खेतों में वाटर लॉकिंग (सेम )आदि समस्याए  दूर होगी तथा आई जी आई परियोजना के अंतिम छोर पर स्थित किसानों को भी सिंचाई हेतु आसानी से   समुचित पानी मिल सकेगा ।







श्री अग्रवाल ने बताया कि परियोजना का लाभ प्रदेश के दस जिलों गंगानगर, हनुमानगढ, चुरु, नागौर, बीकानेर, जोधपुर, जैसलमेर, सीकर, झुंझुनू और बाड़मेर को मिलेगा और इन जिलों की सिंचाई के साथ साथ पैयजल की समस्या भी हल करने में मदद मिलेगी । उन्होंने बताया कि परियोजना में रावी ब्यास सतलज और घग्गर नदियों का फ्लड मैनेजमेंट सिस्टम भी बनेगा इस मौके पर सिंचाई विभाग के अंत मुख्य अभियंता श्री रवि सोलंकी और अन्य अधिकारीगण भी मौजूद थे।

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