अंगदान कर दिया जागरूकता का संदेश
श्रीगंगानगर। श्रीगंगानगर जिले के गांव लाधूवाला के 18 वर्षीय आदित्य का दुर्घटना में बे्रन डेड होने पर चिकित्सकों की सलाह पर परिवारजनों ने हद्य एवं दोनों किडनियां दान कर तीन लोगों को जीवनदान दिया है, जो समाज में जागरूकता बढ़ाने के लिये एक बहुत बड़ा कदम है।
राज्य सरकार के निर्देश पर जिला प्रशासन के अधिकारी बुधवार को गांव लाधूवाला में आदित्य के अंतिम संस्कार में पहुंचकर परिवार जनों को ढाढस बंधाया तथा परिवारजनों के इस निर्णय की सराहना की। प्रशासन की ओर से एडीएम सर्तकता श्री अरविन्द जाखड़ अन्य अधिकारियों के साथ गांव लाधूवाला जाकर परिवार जनों से मिलें तथा अंतिम संस्कार में भाग लिया।
एडीएम प्रशासन ने आदित्य के पिता श्री पूनम से बातचीत की तथा अपने युवा पुत्रा के अंगदान कर लोगों का जीवन बचाने के पुनीत कार्य करने पर आभार जताया। जिला कलक्टर श्री शिवप्रसाद एम. नकाते ने बताया कि लाधूवाला निवासी श्री पूनम के परिवारजनों ने बहुत अच्छा निर्णय लेकर अंगदान करने की प्रेरणा समाज को दी है। उन्होंने कहा है कि रक्तदान व अंगदान कर अनेकों जिन्दगियों को बचाया जा सकता है।
लाधूवाला निवासी श्री पूनम ने बताया कि मेरा युवा पुत्रा तो इस दुनिया में नही रहा, लेकिन व जाते-जाते तीन परिवारों को रोशन कर गया। उन्होंने इस कार्य को अपने परिवार व समाज के लिये एक प्रेरणादायक कार्य बताया।
उल्लेखनीय है कि 18 वर्षीय आदित्य का बीकानेर में दुर्घटना से सिर में चोट लगी। इसके पश्चात पीबीएम चिकित्सालय तथा एसएमएस हाॅस्पीटल जयपुर में उपचार हुआ, लेकिन मस्तिष्क में गहरी चोट के कारण आदित्य का बे्रन डेड हो गया। आदित्य के पिता ने बहुत ही सूझबूझ भरा निर्णय लेकर अपने पुत्रा के तीन अंग दान किये जो तीनों ही जरूरतमंदों के प्रत्यारोपित किये जा चुके है तथा वे स्वस्थ है।
चिकित्सा मंत्राी डाॅ. रघु शर्मा ने भी अंगदान करने को लेकर जागरूकता बढ़ाने पर बल दिया है। उनका कहना है कि अंगदान व रक्तदान से हजारों नागरिकों के जीवन को बचाया जा सकता है। उन्होंने अंगदान करने वाले परिवार का आभार व्यक्त किया है कि अंगदान कर उन्होंने समाज को प्रेरित किया है।
श्रीगंगानगर। श्रीगंगानगर जिले के गांव लाधूवाला के 18 वर्षीय आदित्य का दुर्घटना में बे्रन डेड होने पर चिकित्सकों की सलाह पर परिवारजनों ने हद्य एवं दोनों किडनियां दान कर तीन लोगों को जीवनदान दिया है, जो समाज में जागरूकता बढ़ाने के लिये एक बहुत बड़ा कदम है।
राज्य सरकार के निर्देश पर जिला प्रशासन के अधिकारी बुधवार को गांव लाधूवाला में आदित्य के अंतिम संस्कार में पहुंचकर परिवार जनों को ढाढस बंधाया तथा परिवारजनों के इस निर्णय की सराहना की। प्रशासन की ओर से एडीएम सर्तकता श्री अरविन्द जाखड़ अन्य अधिकारियों के साथ गांव लाधूवाला जाकर परिवार जनों से मिलें तथा अंतिम संस्कार में भाग लिया।
एडीएम प्रशासन ने आदित्य के पिता श्री पूनम से बातचीत की तथा अपने युवा पुत्रा के अंगदान कर लोगों का जीवन बचाने के पुनीत कार्य करने पर आभार जताया। जिला कलक्टर श्री शिवप्रसाद एम. नकाते ने बताया कि लाधूवाला निवासी श्री पूनम के परिवारजनों ने बहुत अच्छा निर्णय लेकर अंगदान करने की प्रेरणा समाज को दी है। उन्होंने कहा है कि रक्तदान व अंगदान कर अनेकों जिन्दगियों को बचाया जा सकता है।
लाधूवाला निवासी श्री पूनम ने बताया कि मेरा युवा पुत्रा तो इस दुनिया में नही रहा, लेकिन व जाते-जाते तीन परिवारों को रोशन कर गया। उन्होंने इस कार्य को अपने परिवार व समाज के लिये एक प्रेरणादायक कार्य बताया।
उल्लेखनीय है कि 18 वर्षीय आदित्य का बीकानेर में दुर्घटना से सिर में चोट लगी। इसके पश्चात पीबीएम चिकित्सालय तथा एसएमएस हाॅस्पीटल जयपुर में उपचार हुआ, लेकिन मस्तिष्क में गहरी चोट के कारण आदित्य का बे्रन डेड हो गया। आदित्य के पिता ने बहुत ही सूझबूझ भरा निर्णय लेकर अपने पुत्रा के तीन अंग दान किये जो तीनों ही जरूरतमंदों के प्रत्यारोपित किये जा चुके है तथा वे स्वस्थ है।
चिकित्सा मंत्राी डाॅ. रघु शर्मा ने भी अंगदान करने को लेकर जागरूकता बढ़ाने पर बल दिया है। उनका कहना है कि अंगदान व रक्तदान से हजारों नागरिकों के जीवन को बचाया जा सकता है। उन्होंने अंगदान करने वाले परिवार का आभार व्यक्त किया है कि अंगदान कर उन्होंने समाज को प्रेरित किया है।
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