जयपुर से पंच धातु में बनकर पहुंच गया है विशाल स्टेच्यू
श्रीगंगानगर। महाराजा गंगासिंह का स्टेच्यू श्रीगंगानगर पहुंच गया। जयपुर से पंच धातु में बनकर महाराजा गंगासिंह का विशाल स्टेच्यू शनिवार को श्रीगंगानगर में फैला है। एडीएम प्रशासन श्री भवानी सिंह ने यह स्टैच्यू रिसीव किया। पूजा अर्चना करने के बाद इस स्टैच्यू को वहाँ लगाया जा रहा है।जिला कलक्टर श्री महावीर प्रसाद वर्मा के अथक प्रयासों से स्टेच्यू निर्माण हुआ है। 12 नवंबर को जिला कलेक्टर ने धनतेरस के शुभ अवसर पर इस मेमोरियल का भूमि पूजन किया था, वहाँ उन्होंने वादा किया था कि चार महीने के भीतर यह मेमोरियल बनेगा और 12 मार्च को ही यह मूर्ति जयपुर से रवाना होकर शनिवार सुबह यहां तक पहुँची है। श्रीगंगानगर के किसान महाराजा गंगासिंह को अपना आदर्श मानते हैं।
जिला कलेक्टर श्री महावीर प्रसाद वर्मा ने बताया कि 26 अक्टूबर 1927 के ऐतिहासिक अवसर पर गंगनहर में पानी छोड़ा गया था तो उस वक्त बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय के संस्थापक श्री मदन मोहन मालवीय, वायसराय लाॅर्ड इरविन अपनी पत्नी वाराजा गंगासिंह अपनी पत्नी सहित मौजूद थे। यह नहर सतलुज नदी से पंजाब के फिरोजपुर के हुसैनीवाला से निकाली गई है। श्रीगंगानगर के जिला कलेक्टर शनिवार को 365 ही के दौरे पर तब उन्होंने इस इलाके की हरियाली को देखा व बताया कि यहां की हरियाली आज महाराजा गंगासिंह के प्रयासों की देन है क्योंकि पहले यह इलाका पूरी तरह रेतीला था। अउ महाराजा गंगासिंह मेमोरियल बनाकर वे उन्हें सच्ची श्रद्धांजलि अर्पित करना चाहते हैं। शीघ्र ही महाराजा गंगासिंह मेमोरियल का लोकार्पण होगा
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