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जाने सुषमा स्वराज ने क्यों कहा की आतंक के खिलाफ लड़ाई परन्तु किसी धर्म के खिलाफ नहीं



अबु धाबी(जी.एन.एस) आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई किसी मजहब से टकराव नहीं: सुषमा स्वराज।विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने ओआईसी की बैठक को सम्बोधित करते हुए कहा है कि आपका संगठन लगभग एक चौथाई मानवता का गठन करते हैं। भारत आपके साथ बहुत कुछ साझा करता है, हम में से कई ने उपनिवेशवाद के काले दिनों को साझा भी किया है, मैं ऐसे राष्ट्रों के सहयोगियों से जुडऩे के लिए सम्मानित हूं जो एक महान धर्म और प्राचीन सभ्यताओं का प्रतिनिधित्व करते हैं।


मैं यहां उस भूमि के प्रतिनिधि के रूप में खड़ी हूं जो ज्ञान का पहाड़, शांति का मसीहा, विश्वास और परंपराओं का स्रोत, कई धर्मों का घर और प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में से एक है। ओआईसी के सदस्यों से हमारे अच्छे सम्बंध हैं। इस्लाम शांति सिखाता है। आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई किसी धर्म के खिलाफ नहीं मानी जाएगी। आतंकवाद जिंदगियों को तबाह कर रहा है। आतंकवाद को पनाह देने वाले देशों को अब समझना होगा। आतंकवाद से क्षेत्र में अस्थिरता फैलती है। आपको बताते जाए कि इस संगठन में 57 इस्लामिक देश सदस्य हैं।

पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने कहा कि वह इस्लामिक सहयोग संगठन की बैठक में शामिल नहीं हो पाएंगे, क्योंकि सुषमा स्वराज मौजूद रहेंगी। सुषमा के स्वागत करने का विरोध भी जताया है। भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने बताया कि भारत की इस्लामी मुल्कों के साथ जुड़ाव को पहचानते हुए विदेश मंत्री सुषमा अबूधाबी पहुंची हैं। उन्हें यूएई के विदेश मंत्री एचएच शेख अब्दुल्ला बिन जायद अल नाहयान ने ओईसी के सम्मेलन में बतौर गेस्ट ऑफ ऑनर के रूप में बुलाया है।


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